• दिल्ली-मुंबई की तर्ज पर विकसित होगा इंदौर


भोपाल। मंगलवार को मध्य प्रदेश के ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट-2025 के दूसरे दिन अनलॉकिंग लैंड वैल्यू इन सिटीज सत्र में शहरों के विकास को लेकर अहम चर्चा हुई। जीआईएस के दूसरे दिन मंगलवार को अनलॉकिंग लैंड वैल्यू इन सिटीज सत्र में शहरों के विकास पर मंथन किया गया। इस सत्र में मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि पूरे राज्य को मिनी मुंबई इंदौर का रूप देगी। जबकि, इंदौर को दिल्ली-मुंबई तर्ज पर विकसित किया जाएगा। इतना ही नहीं, मेट्रोपॉलिटन कॉन्सेप्ट के आधार पर कई जिलों को आपस में जोड़कर और बड़ा किया जाएगा। अब इस योजना पर फोकस कर रहे हैं। इस सेशन में हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री और वर्तमान केंद्रीय शहरी विकास व आवास मंत्री मनोहरलाल खट्टर एवं प्रदेश सरकार के कैबिनेट मंत्री कैलाश विजयवर्गीय भी मौजूद रहे। सेशन में सीएम डॉ. मोहन यादव ने कहा कि हमारी सरकार बनने के बाद हमने कई सेक्टर में काम करने का संकल्प लिया। हमने रीजनल इंडस्ट्रीज कॉन्क्लेव और इंवेस्टर्स समिट की। इस दौरान प्रदेश में रोजगार, उद्योग और निवेश का वातावरण बनाने का प्रयास किया। हमें पता चला कि नर्मदापुरम जैसी छोटी जगह पर भी निवेश की उम्मीदें हैं।  
देश में शहरी आबादी 35 फीसदी हो गई 
केंद्रीय आवास मंत्री मनोहर लाल खट्टर ने कहा कि देश का सबसे विकसित शहर गुरुग्राम था, लेकिन इसके डेवलपमेंट के लिए 10 साल में करीब 20 बार पॉलिसी का रिफॉर्म किया गया। देश में नगरी आबादी बढ़ती जा रही है पहले जो नगरी आबादी का हिस्सा 20 प्रतिशत था, अब 35 प्रतिशत हो गया है। आने वाले 2045 तक इसका अनुपात बढ़कर के 50 फीसदी हो जाएगा। देश की कुल आबादी 164 करोड़ होने का अनुमान है जिसमें 89 करोड़ शहरी आबादी हो जाएगी। शहरों में व्यावसायिक गतिविधियां बढ़ाने के कारण शहर में विस्तार और गांव से लोग शहर की ओर आ रहे हैं। इसके चलते हमें शहरो के संसाधन भी उसे तरह से तैयार करने होंगे। देश की राजधानी दिल्ली के संबंध में खट्टर ने कहा कि दिल्ली एक लैंड लिमिटेड सिटी है। वहां पर जमीन का भारी अभाव है। 
गुरुग्राम में जमीन 150 करोड़ रुपये हेक्टेयर
वहीं, गुरुग्राम में जमीन की उपलब्धता के चलते यह शहर कहां से कहां पहुंच गया। गुरुग्राम में 15 से 20 करोड रुपये हेक्टेयर के भाव से जमीन थी जो अब बढ़कर के 150 करोड रुपये प्रति हेक्टेयर हो गई है। अब दिल्ली को भी 2 साल में पॉलिसी बदलकर बेहतर करेंगे। उन्होंने कहा भोपाल में बढ़ती आबादी में इको सिस्टम बनाने के लिए सुविधा बढ़ाना पड़ेगी। अर्बन मोबिलिटी में भी मेट्रो बढ़ेंगे और मेट्रो का नेटवर्क बढ़ेगा तो मोबिलिटी की व्यवस्थाएं सुदृढ़ होंगी।  उन्होंने कहा कि जिन रूटों पर पर दो चार शहर हैं,  वहां पर मेट्रो रैपीडो चलाने के लिए भी प्लान बनाना चाहिए। मंत्री ने कहा कि मध्य प्रदेश के शहरों में जिनके पास आवास नहीं थे, 9 लाख लोगों को आवास दिए गए हैं सरकार ने 10 लाख की डिमांड की है, इसे भारत सरकार ने स्वीकृति दे दी है। उन्होंने कहा कि टीडीआर यानी ट्रांसफरेबल डेवलपमेंट राइट्स को ज्यादा प्रोत्साहित और बढ़ावा देना चाहिए, जिससे कि शहर का डेवलपमेंट हो सके और हाई राइज बिल्डिंग बनाई जा सकें। उन्होंने यह भी कहा कि गंदी बस्ती और झुग्गी बस्ती उन्मूलन पर भी सरकार काम कर रही है। ई बस सेवा, ई इमोबिलिटी प्लान भी तैयार किया जा रहा है। शहरों में स्लम डेवलपमेंट की बड़ी आवश्यकता है। पीएमवाय योजना में में शहरी और औद्योगिक क्षेत्र में रेंटल स्कीम लाई गई है। 
इस तरह बसाएंगे इंदौर महानगर
मुख्यमंत्री ने कहा कि इंदौर को दिल्ली-मुंबई की तरह बनाना है और बाकी प्रदेश को इंदौर की तरह बनाना है। ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट ने निवेश का और काम करने का माहौल बना दिया है। हम मेट्रोपॉलिटन कॉन्सेप्ट के आधार पर आसपास के जिलों को जोड़ेंगे। भविष्य में इंदौर-उज्जैन-देवास-शाजापुर-पीथमपुर (धार) को जोड़कर इंडस्ट्रियल सेंटर की कल्पना की है। इस तरह सब मिलाकर लगभग 8000 किलोमीटर का पूरा क्षेत्र मिलाने की योजना है। मेट्रोपॉलिटन की कल्पना में मामले को कानूनी पेंच में उलझाने की बजाए एक आउट लाइन तय की है। रोड-रेलवे-बिजली-पानी-सीवर लाइन जैसी सुविधाएं मुहैया कराएंगे। इस तरह 25 सालों में इस क्षेत्र को महानगर के रूप में विकसित करेंगे। इसी तरह भोपाल-सीहोर-विदिशा-रायसेन-नर्मदापुरम का एक हिस्सा मिलाए जाने की कल्पना है।
भावी जरूरतों के लिए नीतियां बनानी होंगीं 
खट्टर ने कहा कि दुनिया भर में शहरों की आबादी बढ़ती जा रही है। 2047 तक विकसित भारत बनाने के लक्ष्य को पूरा करने के लिए हमें शहरों की भावी आवश्यकताओं को देखते हुए हुए विकास की नीतियां बनानी होंगी। उन्होंने प्रदेश के विकास के लिए सीएम डॉ. मोहन यादव के प्रयासों की तारीफ की।
एमपी का चहुंओर विकास होगा 
विजयवर्गीय ने कहा कि जिस तरह प्रदेश में निवेश हो रहा है उससे लग रहा है कि राज्य अग्रणी होगा। शहरीकरण देश की जरूरत है। 2047 तक हमारी जनसंख्या बढ़ेगी। चूंकि, हमें कल का प्रदेश बनाना है, इसलिए उस पर चिंतन करना जरूरी है। मुख्यमंत्री मोहन यादव के नेतृत्व में सिर्फ दो दिन में 18 नई पॉलिसियों को मंजूरी दी गई। इन पॉलिसियों से प्रदेश का चहुंओर विकास होगा।