• डॉक्टर की मौत के बाद पुलिस एक्शन में 
  • ड्राइवर्स के पास लाइसेंस नहीं, अनफिट बसें भी जब्त

भोपाल। 12 मई को बाणगंगा इलाके में हुए दर्दनाक हादसे में एक डॉक्टर युवती की जान चली गई। युवती सिग्नल पर स्कूटी से खड़ी थी, तभी एक फिटनेस एक्सपायर स्कूल बस ने उसे कुचल दिया। बताया गया कि बस के ब्रेक फेल हो गए थे। ऐसे में हादसे के बाद ट्रैफिक पुलिस ने शहर के सभी चार जोन में चेकिंग मुहिम चलाई। स्कूल और कोचिंग वैन, बसों की विशेष जांच हुई। जिसमें तीन दिन में पुलिस ने 345 नॉर्मल और स्कूल की ऐसी बसों पर कार्रवाई की है, जो नियमों का पालन नहीं कर रहीं थीं। यह दर्शाते हैं कि कैसे भोपाल में बड़ी संख्या में वाहन बिना जरूरी दस्तावेजों और फिटनेस के सड़कों पर दौड़ रहे हैं। चेकिंग के दौरान सबसे ज्यादा कार्रवाई जोन 2 में हुई, जिसमें रायसेन रोड और होशंगाबाद रोड जैसे क्षेत्र शामिल हैं। यहां 132 स्कूल बसों पर कार्रवाई हुई। सोमवार (12 मई) को स्कूल बस ने सिग्नल में 8 गाड़ियों को टक्कर मार दी थी। इसमें वहां स्कूटी से घर लौट रही डॉक्टर आयशा की जान चली गई थी। डॉक्टर आयशा की एक महीने बाद ही शादी होने वाली थी। हादसे में 6 लोग घायल हुए थे। जांच में यह भी सामने आया कि हादसे में शामिल स्कूल बस का फिटनेस नवंबर 2024 में ही खत्म हो चुका था और बीमा भी नवीनीकृत नहीं था। बस सड़क पर अवैध रूप से दौड़ाई जा रही थी। इस लापरवाही को गंभीर मानते हुए संभागायुक्त संदीप सिंह ने भोपाल आरटीओ जितेंद्र शर्मा को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया था। इसके बाद टीटी नगर थाना प्रभारी सधीर अरजरिया को भी लाइन अटैच किया गया।
सबसे ज्यादा कार्रवाई जोन-2 में
जोन 2 (रायसेन रोड, होशंगाबाद रोड आदि): 132 बसों पर कार्रवाई, जो शहर में सबसे अधिक है।
जोन 3 (नादरा बस स्टैंड, रेलवे स्टेशन, पॉलिटेक्निक चौराहा): 76 बसें पकड़ी गईं
जोन 4 (एयरपोर्ट रोड, करोंद आदि) : 73 बसें
जोन 1 (एमपी नगर, हबीबगंज) : 64 बसों के खिलाफ कार्रवाई
8 बसें पूरी तरह अनफिट, 5 ड्राइवरों के पास लाइसेंस तक नहीं
5 बस ड्राइवरों के पास लाइसेंस नहीं था।
61 बसों में न फर्स्ट एड किट थी, न फायर एक्सटिंगिवीशर, जो कि कानूनी रूप से अनिवार्य है।
8 बसें पूरी तरह अनफिट पाई गईं, इसमें परिवहन विभाग की चैकिंग में पकड़ी गई 6 बसें शामिल हैं।