• स्वयंसेवकों को देंगे रणनीतिक मंत्र
  • निष्क्रिय पदाधिकारियों को करेंगे सक्रिय

लखनऊ। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघचालक डॉ. मोहन भागवत आज शाम लखनऊ पहुंचेंगे। लखनऊ प्रवास के दौरान वे अवध प्रांत के पदाधिकारियों के साथ संघ के शताब्दी वर्ष की तैयारियों पर मंथन करेंगे। यहां संगठन के आगामी एक वर्ष के कार्यक्रमों की रूपरेखा की जाएगी। संघ सूत्रों के अनुसार, यह बैठक लखनऊ स्थित भारती भवन में आयोजित होगी। वे फिलहाल अभी वाराणसी प्रवास पर हैं। डॉ. भागवत की यह यात्रा संघ के शताब्दी वर्ष (2025) की पृष्ठभूमि के लिए अहम मानी जा रही है। संघ 1925 में विजयादशमी पर स्थापित हुआ था और अगले वर्ष शताब्दी वर्ष मनाया जाएगा। संघ प्रमुख लखनऊ में यह आत्मचिंतन शुरू करने जा रहे हैं कि आगे संघ समाज के लिए क्या कर सकता है। किन नए क्षेत्रों में काम होना चाहिए और इसके लिए घर-घर संघ साहित्य कैसे पहुंचे। संघ की योजना के अनुसार, अक्टूबर-नवम्बर 2024 से यह अभियान शुरू होगा। इसमें समाज के समर्थन का आभार जताया जाएगा और संघ का साहित्य प्रत्येक घर तक पहुंचाया जाएगा।
नाराज पदाधिकारियों से भी मन-ठीक संवाद
सूत्रों का कहना है- संघ प्रमुख लखनऊ प्रवास के दौरान कुछ ऐसे पदाधिकारियों से विशेष मुलाकात करेंगे, जो पिछले कुछ वर्षों से निष्क्रिय चल रहे हैं। संघ नेतृत्व मानता है कि इन वरिष्ठ कार्यकर्ताओं को दोबारा सक्रिय करना शताब्दी वर्ष की सफलता के लिए जरूरी है। यह संवाद 'मन-ठीकÓ पहल के तहत होगा, जिससे पुराने और अनुभवी स्वयंसेवकों को दोबारा संगठन में जोड़ा जा सके।
लखनऊ के बाद लखीमपुर-ख़ीरी और कानपुर
लखनऊ प्रवास के बाद 8 अप्रैल की सुबह डॉ. भागवत लखीमपुर-ख़ीरी रवाना होंगे, जहां वे कबीरधाम में राष्ट्रीय संत असंग देव महाराज से आशीर्वाद लेंगे और एक कार्यक्रम को संबोधित करेंगे। इस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी मौजूद रहेंगे। संघ पदाधिकारियों के अनुसार, लखीमपुर जाते वक्त संघ प्रमुख नैमिषारण्य भी जा सकते हैं, हालांकि इसकी औपचारिक पुष्टि नहीं हुई है। इसके बाद उनका प्रवास कानपुर और फिर ब्रज प्रांत में तय है।