• शिकार के प्रयास में आई थी गंभीर चोट

श्योपुर। वन विभाग ने साफ किया है कि चीता नाभा की मौत का वास्तविक कारण पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही स्पष्ट हो पाएगा। हालांकि प्रारंभिक जांच में यह माना जा रहा है कि गंभीर हड्डी टूटने और आंतरिक चोटों की वजह से उसकी हालत बिगड़ती चली गई। मध्यप्रदेश के श्योपुर स्थित कूनो राष्ट्रीय उद्यान में ‘प्रोजेक्ट चीता’ को एक और झटका लगा है। नामीबिया से लाई गई आठ वर्षीय मादा चीता ‘नाभा’ की शनिवार को मृत्यु हो गई। वन विभाग के अनुसार, नाभा एक सप्ताह पहले अपने सॉफ्ट रिलीज बोमा में शिकार के प्रयास के दौरान गंभीर रूप से घायल हो गई थी, जिसके बाद उसका लगातार इलाज चल रहा था।
शिकार के प्रयास में टूट गई थीं हड्डियां
वन विभाग की ओर से जारी आधिकारिक जानकारी के अनुसार, नाभा को बाईं ओर अल्ना (ulna) और फिबुला (fibula) हड्डियों में फ्रैक्चर के साथ कई अन्य गंभीर चोटें आई थीं। अनुमान लगाया गया है कि ये चोटें शिकार के दौरान तेज दौड़ या झटके की वजह से आई होंगी। घायल होने के बाद उसे तत्काल उपचार के लिए विशेष निगरानी में रखा गया और एक सप्ताह तक उसका इलाज चला, लेकिन स्थिति में सुधार नहीं हुआ और आज उसकी मौत हो गई।
पोस्टमार्टम रिपोर्ट से खुलेगा मौत का राज
वन विभाग ने यह भी स्पष्ट किया है कि नाभा की मौत का वास्तविक कारण पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही स्पष्ट हो पाएगा। हालांकि प्रारंभिक जांच में यह माना जा रहा है कि गंभीर हड्डी टूटने और आंतरिक चोटों की वजह से उसकी हालत बिगड़ती चली गई।