मुख्यमंत्री डॉ. यादव बोले-किसानों को अब पांच रुपये में मिलेगा बिजली का स्थाई कनेक्शन

- तीन साल में किसानों को 30 लाख सोलर पंप उपलब्ध कराए जाएंगे
- किसानों द्वारा सौर ऊर्जा से उत्पादित बिजली नगद खरीदी जाएगी
- किसानों की आय बढ़ाने और उनका जीवन बेहतर बनाने के लिए हर संभव प्रयास जारी
भोपाल। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि किसानों को अब 5 रुपये में बिजली का स्थाई कनेक्शन उपलब्ध कराया जाएगा। मध्य क्षेत्र को यह व्यवस्था तत्काल आरंभ करने के निर्देश देते हुए, मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि चरणबद्ध रूप से पूरे प्रदेश में किसानों को यह सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी। उन्होंने कहा कि यह किसानों की सरकार है। उनका जीवन बेहतर बनाने के लिए हर संभव कार्य किए जाएंगे। राज्य सरकार सोलर पंप के माध्यम से किसानों को बिजली उत्पादन में भी आत्म-निर्भर बनाएगी। अगले तीन वर्ष में किसानों को 30 लाख सोलर पंप उपलब्ध कराकर, किसानों को बिजली बिल से मुक्ति दिलाएगी। प्रतिवर्ष 10-10 लाख कनेक्शन दिए जाएंगे। किसानों को 24 घंटे बिजली उपलब्ध कराने की व्यवस्था की जा रही है। इसके साथ ही किसानों द्वारा सौर ऊर्जा से उत्पादित बिजली खरीद कर उन्हें नगद भुगतान किया जाएगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव किसान आभार सम्मेलन में मुख्यमंत्री निवास पहुंचे किसानों को संबोधित कर रहे थे।
सरकार सदैव किसानों के साथ
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रदेश सरकार सदैव किसानों के साथ है और उनके हित में निरंतर कार्य कर रही है। हम 2 हजार 600 रुपये प्रति क्विंटल की दर से समर्थन मूल्य पर गेहूँ खरीद रहे हैं, इसमें 175 रुपये बोनस राशि है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि वर्ष 2003-04 में प्रदेश में गेहूँ खरीदी का सरकारी दाम मात्र 447 रुपए था जो राज्य सरकार ने बढ़ा कर 2 हजार 600 प्रति क्विंटल किया है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि सरकार वर्ष 2024 के लिये धान उपार्जन पर 4 हजार रुपये प्रति हेक्टेयर की प्रोत्साहन राशि प्रदान करने जा रही है। उन्होंने कहा कि सोलर पंप के माध्यम से किसानों को स्थाई कनेक्शन भी दिए जाएंगे। हाल ही में अस्थाई कनेक्शन वाले डेढ़ लाख किसानों को स्थाई कनेक्शन दिलवाए गए हैं और इसकी राशि भी कम की गई है। तीन हॉर्स पॉवर वालों को सोलर पंप की 5 प्रतिशत राशि, 5 से 7.50 हॉर्स पॉवर के लिए 10 प्रतिशत राशि देना होगी।
जैविक खेती से मध्यप्रदेश अपनी अलग पहचान बनाएगा
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कृषकों से फसल चक्र में बदलाव का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि धान के बदले में मूंगफली और प्राकृतिक फसलों को प्रोत्साहन दिया जा रहा है। हमारा प्रयास है कि जैविक खेती से मध्यप्रदेश अपनी अलग पहचान स्थापित करें। उन्होंने कहा कि जीआईएस भोपाल में किसानों की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। प्रदेश में उत्पादित कपास से क्रांति आने वाली है। किसान परिवार के व्यक्ति को रोजगार देने वाली टेक्सटाइल मिलों को 5 हजार रुपये का बोनस दिया जाएगा। कृषि आधारित उद्योग लगाने के लिए राज्य सरकार प्रतिबद्ध है।
10 हजार क्षमता की गौ-शालाएं बनाई जाएगी
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रदेश की प्रति व्यक्ति आय बढ़ाने के लिए सभी प्रयास जारी हैं। गेहूँ और धान पर दिए जा रहे प्रोत्साहन के समान ही दुग्ध उत्पादन पर भी प्रोत्साहन स्वरूप बोनस प्रदान किया जाएगा। दस से अधिक गाय पालने वालों को अनुदान दिया जाएगा। गांव-गांव में गोपालन और दुग्ध उत्पादन को प्रोत्साहन देने के लिए अनुदान उपलब्ध कराया जाएगा। गौ-शाला चलाने वालों को प्रति गाय 20 रुपये के स्थान पर 40 रुपये का अनुदान देकर गौ-शालाओं को सक्षम बनाया जाएगा। गौ-माता परमात्मा की हम पर असीम कृपा है। गौ-माता प्रकृति और परमात्मा के बीच संबंध का सूत्र है। बेसहारा, अशक्त और वृद्ध गौ-माताओं के आश्रय के लिए भोपाल सहित सभी बड़ी नगर निगमों में 10 हजार क्षमता की गौ-शालाएं बनाई जाएगी।