विज्ञापन केस में पतंजलि ने सुप्रीम कोर्ट से माफी मांगी कहा- ऐसे ऐड नहीं दिखाएंगे, कोर्ट ने रामदेव-बालकृष्ण को 2 अप्रैल को तलब किया है

Updated on 21-03-2024 01:25 PM

सुप्रीम कोर्ट ने चल रहे पतंजलि आयुर्वेद के गुमराह करने वाले दवा विज्ञापन मामले में अब कंपनी ने कोर्ट से अपनी गलती की माफी मांगी है। पतंजलि आयुर्वेद और उसके MD आचार्य बालकृष्ण ने गुमराह करने वाले भ्रामक दवा विज्ञापन देने के लिए सुप्रीम कोर्ट से बिना शर्त माफी मांगी है।

इस माफीनामे में विज्ञापन को फिर से प्रसारित न करने का भी वादा किया गया है। आचार्य बालकृष्ण का कहना है कि कंपनी के मीडिया विभाग को सुप्रीम कोर्ट के आदेश की जानकारी नहीं थी। उनका कहना है कि इसका उद्देश्य नागरिकों को पतंजलि के प्रोडक्ट का उपभोग करके स्वस्थ जीवन जीने के लिए प्रोत्साहित करना था।

सुप्रीम कोर्ट ने बाबा रामदेव और बालकृष्ण को पेश होने का दिया था आदेश
कोर्ट ने 2 अप्रैल को पतंजलि आयुर्वेद के गुमराह करने वाले दवा विज्ञापन मामले में स्वामी रामदेव (पतंजलि के को-फाउंडर) और पतंजलि के MD आचार्य बालकृष्ण को कोर्ट में पेश होने को कहा है। कंपनी और आचार्य बालकृष्ण ने नोटिस का जवाब दाखिल नहीं किया, जिसकी वजह से यह आदेश जारी किया गया था।

अब उन्हें अगली तारीख पर कोर्ट में पेश होना पड़ सकता है। कोर्ट ने 19 मार्च को हुई सुनवाई में नोटिस जारी कर ये भी पूछा था कि उनके खिलाफ क्यों न अवमानना की कार्यवाही शुरू की जाए। जस्टिस हिमा कोहली और अहसानुद्दीन अमानुल्लाह की बेंच ने इस मामले की सुनवाई कर रहे हैं। इससे पहले 27 फरवरी को इस मामले की सुनवाई हुई थी।

27 फरवरी की सुनवाई में कोर्ट ने पतंजलि आयुर्वेद के गुमराह करने वाले दवा विज्ञापनों पर रोक लगाई थी। इसके अलावा अवमानना कार्यवाही में कारण बताओ नोटिस जारी किया था। दरअसल, कोर्ट ने पिछले साल भ्रामक विज्ञापन जारी नहीं करने का निर्देश दिया था, लेकिन कंपनी ने इसे नजरअंदाज किया।

इंडियन मेडिकल एसोसिएशन की याचिका पर सुनवाई कर रही कोर्ट
सुप्रीम कोर्ट इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (IMA) की ओर से 17 अगस्त 2022 को दायर की गई याचिका पर सुनवाई कर रही थी। इसमें कहा गया है कि पतंजलि ने कोविड वैक्सीनेशन और एलोपैथी के खिलाफ निगेटिव प्रचार किया। वहीं खुद की आयुर्वेदिक दवाओं से कुछ बीमारियों के इलाज का झूठा दावा किया।

कोर्ट के आदेश के बाद भी पतंजलि ने जारी किए थे विज्ञापन
इससे पहले हुई सुनवाई में आईएमए ने दिसंबर 2023 और जनवरी 2024 में प्रिंट मीडिया में जारी किए गए विज्ञापनों को कोर्ट के सामने पेश किया। इसके अलावा 22 नवंबर 2023 को पतंजलि के CEO बालकृष्ण के साथ योग गुरु रामदेव की एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के बारे में भी बताया। पतंजलि ने इन विज्ञापनों में मधुमेह और अस्थमा को 'पूरी तरह से ठीक' करने का दावा किया था।

ये प्रेस कॉन्फ्रेंस सुप्रीम कोर्ट की सुनवाई के ठीक एक दिन बाद की गई थी। 21 नवंबर 2023 को हुई सुनवाई में जस्टिस अमानुल्लाह ने कहा था- पतंजलि को सभी भ्रामक दावों वाले विज्ञापनों को तुरंत बंद करना होगा। कोर्ट ऐसे किसी भी उल्लंघन को बहुत गंभीरता से लेगा और हर एक प्रोडक्ट के झूठे दावे पर 1 करोड़ रुपए तक जुर्माना लगा सकता है।

कोर्ट ने कहा था- पतंजलि भ्रामक दावे करके देश को धोखा दे रही है
पिछली सुनवाई में बेंच ने कहा था- पतंजलि भ्रामक दावे करके देश को धोखा दे रही है कि उसकी दवाएं कुछ बीमारियों को ठीक कर देंगी, जबकि इसका कोई ठोस प्रमाण नहीं है। पतंजलि ड्रग्स एंड मैजिक रेमेडीज (आपत्तिजनक विज्ञापन) एक्ट में बताई गई बीमारियों के इलाज का दावा करने वाले अपने प्रोडक्ट्स का विज्ञापन नहीं कर सकती।

कोर्ट ने सरकार से पूछा था- आपने पतंजलि पर क्या कार्रवाई की
कोर्ट ने सरकार से पूछा था कि पतंजलि के विज्ञापनों के खिलाफ ड्रग्स एंड मैजिक रेमेडीज (आपत्तिजनक विज्ञापन) अधिनियम 1954 के तहत क्या कार्रवाई की गई है। केंद्र की तरफ से एडिशनल सॉलिसिटर जनरल (ASG) ने कहा कि इस बारे में डेटा इकट्ठा किया जा रहा है। कोर्ट ने इस जवाब पर नाराजगी जताई और कंपनी के विज्ञापनों पर नजर रखने का निर्देश दिया।

कोविड की दवा बनाने के दावे को लेकर घिरी थी पतंजलि
रामदेव बाबा ने दावा किया था कि उनके प्रोडक्ट कोरोनिल और स्वसारी से कोरोना का इलाज किया जा सकता है। इसके अलावा भी पतंजलि अपने कुछ अन्य प्रोडक्ट्स को लेकर विवादों में रही है।

  • 2015 में कंपनी ने इंस्टेंट आटा नूडल्स लॉन्च करने से पहले फूड सेफ्टी एंड रेगुलेरिटी अथॉरिटी ऑफ इंडिया (FSSAI) से लाइसेंस नहीं लिया था। इसके बाद पतंजलि को फूड सेफ्टी के नियम तोड़ने के लिए लीगल नोटिस का सामना करना पड़ा था।
  • 2015 में कैन्टीन स्टोर्स डिपार्टमेंट ने पतंजलि के आंवला जूस को पीने के लिए अनफिट बताया था। इसके बाद CSD ने अपने सारे स्टोर्स से आंवला जूस हटा दिया था। 2015 में ही हरिद्वार में लोगों ने पतंजलि घी में फंगस और अशुद्धियां मिलने की शिकायत की थी।
  • 2018 में भी FSSAI ने पतंजलि को मेडिसिनल प्रोडक्ट गिलोय घनवटी पर एक महीने आगे की मैन्युफैक्चरिंग डेट लिखने के लिए फटकार लगाई थी।
  • कोरोना के अलावा रामदेव बाबा कई बार योग और पतंजलि के प्रोडक्ट्स से कैंसर, एड्स और होमोसेक्सुअलिटी तक ठीक करने के दावे को लेकर विवादों में रहे हैं।


अन्य महत्वपुर्ण खबरें

 15 April 2024
1980 में अटल बिहारी वाजपेयी, आडवाणी, राजनाथ सिंह जैसे नेताओं को जनता पार्टी से निकाल दिया गया। वजह थी RSS की सदस्यता। जनता पार्टी का साफ कहना था कि जो…
 15 April 2024
नोबेल पुरस्कार विजेता अमर्त्य सेन ने कहा है कि देश में विपक्षी एकता नहीं है। इस कारण यह अपनी अधिकतर ताकत खो चुका है। कांग्रेस के संगठन में कई सारी…
 15 April 2024
असम में सिर्फ 150 रुपए में हवाई सफर किया जा सकता है। यह देश की सबसे सस्ती फ्लाइट है। केंद्र सरकार की ‘उड़ान’ (उड़े देश का आम नागरिक) स्कीम के…
 15 April 2024
इलेक्शन कमीशन के अधिकारियों ने सोमवार को कांग्रेस नेता राहुल गांधी के हेलिकॉप्टर की जांच की। तमिलनाडु के नीलगिरि में फ्लाइंग स्क्वॉड के अधिकारियों ने यह छानबीन की। इस छानबीन…
 15 April 2024
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की न्यायिक हिरासत सोमवार (15 अप्रैल) को खत्म हो रही है। वे 15 दिन से दिल्ली शराब नीति घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में…
 15 April 2024
PM नरेंद्र मोदी आज दो राज्यों का दौरा करेंगे। पहले वह केरल में दो रैलियां करेंगे। फिर तमिलनाडु में एक जनसभा को संबोधित करेंगे। सोमवार सुबह वे केरल के त्रिशूर…
 15 April 2024
सुप्रीम कोर्ट और हाईकोर्ट्स के 21 रिटायर्ड जजों ने CJI डीवाई चंद्रचूड़ को चिट्‌ठी लिखी है। जिसमें उन्होंने बताया है कि कुछ लोग सोचे-समझे ढंग से दबाव बनाकर, गलत सूचनाएं…
 15 April 2024
अमरनाथ यात्रा 29 जून से शुरू होने वाली है। इस बार यह यात्रा 19 अगस्त तक चलेगी। 2023 में 1 जुलाई से यात्रा शुरू हुई थी। इस बार यात्रा 52…
 04 April 2024
लोकसभा चुनाव की गहमागहमी के बीच गुजरात में चौंकाने वाले सियासी घटनाक्रम चल रहे हैं। एक तरफ भाजपा कार्यकर्ता खुलकर अपने ही प्रत्याशी का विरोध कर रहे हैं तो दूसरी…
Advt.