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होली और रंगपंचमी की छुट्टियों के बाद मप्र विधानसभा का बजट सत्र आज फिर शुरू हो गया है। प्रश्नकाल के दौरान महेश्वर से कांग्रेस विधायक विजयलक्ष्मी साधो ने मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना में नकली जेवर बंटने का मुद्दा उठाया। संसदीय कार्यमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने जांच का भरोसा दिया।

आज सदन में जीतू पटवारी के निलंबन को लेकर हंगामे के आसार हैं। दरअसल, बजट सत्र के 5वें दिन कांग्रेस विधायक जीतू पटवारी को स्पीकर ने बजट सत्र की बाकी अवधि के लिए निलंबित कर दिया था। कांग्रेस ने हंगामा कर दिया था। इसके बाद सत्र 13 मार्च की सुबह 11 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया गया था।

विधानसभा अपडेट्स...

कन्या विवाह योजना में बंटे नकली जेवर, मंत्री ने स्वीकारा

  • प्रश्नकाल के दौरान कन्या विवाह योजना में दिए गए सामान पर विजयलक्ष्मी साधो ने सत्तापक्ष को घेरा।
  • मंत्री गोपाल भार्गव ने बीच में जवाब दिया, तो साधो बोलीं- ये उस विभाग के मंत्री नहीं हैं।
  • तरुण भनोट बोले- कैबिनेट मंत्री मीणा सिंह के क्षेत्र में नकली जेवर बंट रहे थे।
  • मंत्री मीना सिंह बोलीं- यदि सामान में गड़बड़ी थी, तो हमने वितरित नहीं होने दिया।
  • मीना सिंह ने साधो पर निशाना साधते हुए कहा- इनके क्षेत्र में इनकी सहमति से गड़बड़ सामान बंटा।
  • इस पर कांग्रेस विधायक भनोट बोले- मंत्री ने खुद स्वीकार लिया कि सामान खरीदी में गड़बड़ी हुई।
  • संसदीय कार्य मंत्री ने उच्च स्तरीय जांच का आश्वासन दिया।
  • साधो ने कहा- जांच में विधायक को शामिल करें।
  • संसदीय कार्य मंत्री बोले- जिन बिंदुओं पर आपत्ति हो लिखकर दे दें।
  • साधो बोलीं- आप बहन-बहन बोलते हो, तो बहन को जांच में शामिल करने में क्या दिक्कत है?
  • स्पीकर ने हंगामे पर कहा- संसदीय कार्यमंत्री से अनुरोध करता हूं कि जब जांच हो तो विधायक जी को बुला लें।

पैसे वसूलने के लिए अधिकारयों से बंटवाए जा रहे पट्‌टे

  • कांग्रेस विधायक झूमा सोलंकी ने भीकनगांव विधानसभा क्षेत्र में का मामला उठाया।
  • सोलंकी ने कहा- विधायक-सांसदों की उपस्थिति में पट्टे न बंटवाकर अधिकारी से बंटवाए जाते हैं, ताकि पैसे वसूले जा सकें।
  • मंत्री मीणा सिंह ने कहा- जनप्रतिनिधियों के द्वारा ही प्रमाणपत्र वितरित कराए जाते हैं।

कमलनाथ बोले- मंत्री ने स्वीकार किया कि हमने 27% आरक्षण दिया

  • कल्पना वर्मा ने ओबीसी को 27% आरक्षण को लेकर सवाल पूछा।
  • रामखेलावन पटेल बोले- जिन मामलों में हाईकोर्ट ने रोक लगाई, उन 3 विभागों को छोड़कर सभी विभागों में 27% आरक्षण दिया जा रहा है।
  • तरुण भनोट बोले- मंत्री दो तरह की बात कर रहे हैं। कह रहे कि हाईकोर्ट ने रोक लगा रखी है, यह भी कह रहे कि 27% आरक्षण है।
  • मंत्री पटेल बोले- स्कूल शिक्षा, चिकित्सा शिक्षा और पटवारी भर्ती में हाईकोर्ट की रोक है।
  • कमलनाथ बोले- मैं केवल एक ही बात जानना चाहता हूं कि किन विभागों में 27% आरक्षण लागू है, किनमें नहीं? मुझे दिलचस्पी इसलिए है, क्योंकि मैंने मुख्यमंत्री रहते 27% आरक्षण दिया था।
  • भूपेंद्र सिंह बोले- कमलनाथ जी ने महत्वपूर्ण प्रश्न पूछा है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह का मैं आभारी हूं। उनके कारण इस मप्र में ओबीसी को 27% नौकरियों में आरक्षण मिला। मप्र देश का पहला राज्य है जहां नगरीय निकाय और पंचायतों के चुनाव 27% आरक्षण के साथ हुए।
  • भूपेंद्र बोले- आपकी सरकार के समय 3 विभागों में 27% आरक्षण पर रोक लगी थी। कोर्ट में कांग्रेस सरकार के वक्त एडवोकेट जनरल उपस्थित नहीं हुए। 3 विभागों को छोड़कर 27% आरक्षण दिया जा रहा है।
  • कमलनाथ बोले- मैं मंत्री को धन्यवाद देता हूं कि उन्होंने स्वीकार किया कि हमारी सरकार ने 27% आरक्षण दिया। 15 साल आपकी सरकार रही, आपने 27%आरक्षण नहीं दिया। मैं 27% को भी न्याय नहीं मानता। हमारे यहां ओबीसी की आबादी 50% है।
  • कमलनाथ बोले- 15 साल आपने नहीं दिया, हमने 15 महीने में 27% आरक्षण दिया।
  • नरोत्तम बोले- एक भी व्यक्ति को मिला हो तो बताएं?
  • सीएम और उनकी पत्नी पर टिप्पणी अमर्यादित मानी

    मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और उनकी पत्नी पर परोक्ष रूप से की गई टिप्पणी को अमर्यादित मानते हुए विधानसभा स्पीकर ने कांग्रेस विधायक जीतू पटवारी को पूरे बजट सत्र से निलंबित कर दिया था। पटवारी के निलंबन का प्रस्ताव संसदीय कार्यमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने रखा था। इस पर मौखिक वोटिंग कराकर फैसला हुआ।

    ऐसे चला घटनाक्रम...

  • राज्यपाल के अभिभाषण पर बोलते समय पटवारी ने सीधी बस हादसे के वक्त मुख्यमंत्री के रीवा, जबलपुर, फिर रीवा-सीधी आने-जाने का जिक्र किया। उन्होंने बंदर की कहानी सुनाई। बंदर को राजा बताते हुए पेड़ पर उछल-कूद करने की बात कही। फिर दूध का उत्पादन घटने पर सीएम की पत्नी पर परोक्ष टिप्पणी की।
  • पटवारी ने जामनगर (गुजरात) में बन रहे अंबानी के जू में इंदौर जू के बाघ, शेर देने का मामला उठाया। इतना बोलते ही नरोत्तम और पटवारी आमने-सामने आ गए। इस कथन को झूठा बताकर नरोत्तम कागज पटल पर रखने के लिए अड़ गए। विपक्ष को जवाब देने के लिए 5 मिनट के लिए सदन स्थगित की गई।
  • पटवारी ने बाद में कागज पटल पर रखे, जिसे स्पीकर ने कहा कि सदन में कहे गए बयान और कागजों में भिन्नता है। विवाद बढ़ा तो सत्ता पक्ष के लोग पटवारी पर कार्रवाई के लिए अड़ गए। स्पीकर ने पटवारी से कहा कि वे खेद व्यक्त कर दें। पटवारी तैयार नहीं हुए। इसके बाद पटवारी को निलंबित कर दिया गया।
  • बाद में पटवारी ने कहा- नरोत्तम-शिवराज की लड़ाई में मेरा निलंबन

    जीतू पटवारी ने निलंबन के बाद कहा था- हमारे अध्यक्ष जो संविधान की शपथ और धर्म नहीं निभा रहे हैं। उनके खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव कमलनाथ जी के निर्देश पर कांग्रेस पार्टी लाई है। वो चर्चा से भागे हैं। किताबें फेंक कर भाग गए। क्योंकि चोरी करने वाला कभी मुंह नहीं दिखाता, मुंह छिपाकर भागता है। 13 मार्च को हिसाब देना पड़ेगा। इस दिन के कार्यक्रम का निर्णय नेता प्रतिपक्ष, कमलनाथ जी और कांग्रेस पार्टी फैसला करेगी।

    नरोत्तम मिश्रा इस तरह की बातें कर रहे हैं। झगड़ा तो शिवराज सिंह और नरोत्तम मिश्रा के बीच में है। ये लड़ाई शिवराज जी के खिलाफ नरोत्तम मिश्रा ने छेड़ी है। हमारा रोल तो जनता के लिए है। जो बातें नरोत्तम मिश्रा बोलते हैं, इसका मतलब है कि वो शिवराज जी को क्रिटिसाइज करते हैं। ये उनकी आपसी लड़ाई में सदन का दुरुपयोग हो रहा है। उनकी आपसी लड़ाई में मेरा निलंबन हुआ है। बीजेपी की आपसी लड़ाई दूसरे के माथे फोड़ रहे हैं। आपस में सभी डाकू लड़ रहे हैं।

    मैंने जो बोला वही लिखकर दिया था...

    निलंबन पर सवाल उठाते हुए जीतू पटवारी ने कहा- मैंने जो बोला, वही लिखकर दिया है। वही प्रश्नों में भी है। उन्हीं बातों पर मैं अब भी कायम हूं। अगर कोई गलती होती, तो कल ही खेद व्यक्त कर देता। मैंने जो कहा, वो संविधान के अनुरूप, पार्टी के अनुरूप कहा। संयमित भाषा में सही शब्दों में कहा। कोई गलती नहीं की।

    नरोत्तम मिश्रा और शिवराज जी के झगड़े का खामियाजा प्रदेश भुगत रहा है। अध्यक्ष जी उसका मोहरा बन रहे हैं। अध्यक्ष जी ने जो किया, वो अलोकतांत्रिक तरीके से नियम विरुद्ध ढंग से किया। पार्टी का निर्णय मेरा निर्णय है। कमलनाथ जी, नेता प्रतिपक्ष और पार्टी जो निर्णय करेगी, मैं उसे मानूंगा।

Bhopal   13/03/2023